सोमवार, 19 अगस्त 2013

अब की रक्षावंधन

कल रक्षा वंधन हे और करीबन एक हफ्ते पहले से ही Online राक्षी भेजा जा रहा है । कल Fb twitter orkut g+ आदि Social networking sites मेँ शुभकामनाये और बधाइ संदेश के साथ साथ फोटो भी upload किया जायेगा । परंतु यहाँ मेँ उन लोगेँ से एक प्रश्न करना चाहुगाँ क्या वो इस त्योहार को सिर्फ एक दिन मनांकर वाकी दिनोँ मेँ किसीके वहन को छेडने से लेकर रेप तक करने लेंगे । हिँदु धर्म का कोइ भी त्योहार केवल एक दिन के लिये नहीँ हे । हिँदु धर्म का हर त्योहार आपने आप मेँ एक ग्रंथ है । हर त्योहार जीवन जीँने के रस्तादिखाता हे । गत वर्ष दिसेम्बर मेँदामिनी के साथ हुआ अमानुशिक अत्याचार हमारे सामाजिक पतन की योर दिशानिर्देश करता है । आज अगर तुम यह शपथ करते हो की तुम हर नारीको सम्मान के नजर से देखोगे तभी इस त्योहार का महत्व वढ़ेगा । अन्यथा इस त्योहार को मनाने का कोइ अर्थ नहीँ निकलता । उत्तरभारत मेँ लगातार हो रहे आपराधिक बृद्धि हमारे आर्थिक धार्मिक और सामाजिक पतन को दर्शाता है । उत्तरभारत से आये दिन ऐसे खवर आ रहे हेँ जो सर्मिदाँ होने के लिये काफी है । राक्षा वंधन जरुर मनायेँ और इससे नारी सम्मान की शिक्षा लेकर ।।

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