योद्धा सिर्फ सैनिक ही नहीँ
बाढ़, चक्रवात, अकाल , साहुकारोँ से लढ़नेवाले मेरे कृषक भाई भी है योद्धा ।
योद्धा भी है मेरे मजदूर भाई
उनके मशीन से कुस्ती लढ़ने से
देश कि अर्थनीति को मिलती है
मज़बुती
योद्धा है यहाँ हर वो नागरिक
जिसे देश से हो प्यार
जो देश के लिये जिना जानता है
और मरना भी
योद्धा बस वो नहीँ जिसने बंदुक तलवार के नौक पर
दुनिया तमाम जीत लिया
योद्धा वो भी है
हार कर युद्ध भी जिसने मिठे वोल से ही दिल जीत लिया
एक योद्धा इंसानोँ को मार सकता है
जीवन से सदा
के लिये
एक योद्धा कलमकार है
उसके खाए चोट से
दुशमन जिँते जी मर जाते है
योद्धा एक जाति नहीँ
न है किसी क्षेत्र विशेष के लोगोँ का औदा
योद्धा वे सभी है
हारते नहीँ
जो लढ़ते रहे अन्त तक सदा
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